गंदे नाले को बंद करना स्टेट की जिम्मेदारीफिर भी औजला ने उठाया था मुद्दा और जेब से खर्च किए थे रुपए


अगर स्टेट नहीं कराएगी तो केंद्र से लाएंगे फंड = औजला
अमृतसर। कांग्रेस के लोकसभा प्रत्याशी गुरजीत सिंह औजला का कहना है कि तुंग ढाब ड्रेन को बंद करने के मुद्दे को भड़काकर केवल लोगों को गुमराह किया जा रहा है जबकि यह काम स्टेट का है और कांग्रेस सरकार के रहते इसके लिए फंड भी दिया था लेकिन राज्य सरकार ने इस काम को नहीं करवाया। फिर भी प्रोजेक्ट का काम पूरा हो चुका है और अगर अब भी स्टेट पैसे नही देगी तो वो जीत के बाद केंद्र से पैसे लायेंगे। उन्होंने यह शब्द आज अमृतसर के बाईपास पर स्तिथ ड्रेन को बंद करने के एनजीओएस की ओर से बनाई गई हैं ह्यूमन चेन में पहुंच कर कहे।
ह्यूमन चेन बनाने के दौरान एनजीईओएस के आमंत्रण पर पहुंचे
गुरजीत सिंह औजला आज एनजीओ की ओर से बनाई गई ह्यूमन चेन के दौरान पीएस भट्टी की ओर से दिए गए आमंत्रण पर पहुंचे थे। जहां पीएस भट्टी ने बताया कि इस ड्रेन के लिए जब गुरजीत सिंह औजला काउंसलर से तो अपनी जेब से रुपए दिए थे और उसके बाद ह्यूमन राइट में इसके तहत केस डाला गया था। उसके बाद भी आज तक आवाज बुलंद करते रहे हैं।
जायका प्रोजेक्ट के तहत आई थी तुंग ढाब ड्रेन
गुरजीत सिंह औजला ने इस मौके पर बताया कि इस मामले में वो शुरू से ही आवाज उठाते आए हैं। इसके लिए वो पीएस भट्टी के साथ मिलकर काम करते रहे हैं और केस लड़ते रहे हैं। जिसके बाद जब डॉक्टर मनमोहन सिंह की सरकार बनी तो इसके लिए 2006 में 260 करोड़ का ऐलान किया गया। उसके बार 2007 में अकाली बीजेपी की सरकार बन गई और दस सालों तक सरकार वहां सीवरेज भी नहीं डाल सकी।
2017में डाला सीवरेज
इसके बाद 2017 में आकर उन्होंने इसका सीवरेज का काम पूरा किया और सांसद बनकर संसद में आवाज बुलंद की। फिर केंद्र सरकार ने इसका नोटिस लिया। 2018,19 में इसके लिए लगातार आवाज बुलंद करते रहे और 2021 में टास्क फोर्स बनाई गई। जिसमें प्रोजेक्ट पर वर्कआउट किया गया और पता लगा कि इस ड्रेन में तीन तरह का गंदा पानी आता है। जिसमें एक घरों का पानी, एक इंडस्ट्री का और एक बेरियों का पानी उसमें आता है। इसके बाद इरिगेशन , कार्पोरेशन और पॉल्यूशन विभाग की सांझी रिसर्च के तहत 15.2.2024 में यह प्रोजेक्ट सरकार को बनाकर भेजा गया है। जिसके तहत इसमें दो पाइप्स डाली जा चुकी हैं और एक बाकी है।
अगर स्टेट नहीं देगी तो सेंटर से लाएंगे पैसा
गुरजीत सिंह औजला ने कहा कि इस मामले में अगर राज्य सरकार पैसा नहीं देगी तो केंद्र से पैसा लाया जाएगा। उन्होंने कहा कि रीगो ब्रिज की तर्ज पर अगर यहां भी राज्य सरकार आंखें बंद करके बैठी रहेगी तो केंद्र से संपर्क किया जाएगा लेकिन इसका हल अवश्य करवाया जायेगा।
नगर निगम के इलेक्शन ना होने से भी आई देरी
गुरजीत सिंह औजला ने कहा कि विरोधी उन्हें इस बात को लेकर नाजायज घेर रहे हैं जबकि इसके लिए प्रोजेक्ट बन चुका है और नगर निगम के इलेक्शन ना होने के कारण इसमें देरी आई है। वो पहले दिन से ही इसके लिए कोशिश कर रहे हैं और जल्दी ही काम पूरा हो जाएगा। वो केंद्र में आवाज बुलंद करते आए हैं और आगे भी करते रहेंगे।

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